यह लेख पुष्पराजगढ़ विकासखंड के करपा और दमेहड़ी गांवों में उच्च शिक्षा सुविधाओं की कमी के फायदे और नुकसान के बारे में बताता है, खासकर छात्रों के लिए.
नुकसान:
उच्च शिक्षा से वंचित: करपा और दमेहड़ी के छात्र कॉलेज जैसी उच्च शिक्षा से वंचित हैं क्योंकि उनके पास अपने क्षेत्र में कोई महाविद्यालय नहीं है.
लंबी दूरी की यात्रा: छात्रों को उच्च शिक्षा प्राप्त करने के लिए राजेन्द्रग्राम तक 35-40 किलोमीटर की लंबी दूरी तय करनी पड़ती है, जिससे उन्हें अत्यधिक परेशानी होती है.
आवागमन की समस्या: आवागमन के साधनों के अभाव के कारण कई छात्र हायर सेकेंडरी के बाद अपनी पढ़ाई छोड़ रहे हैं.
प्रतिभा का विकास बाधित: दूरस्थ क्षेत्र होने के कारण अनुसूचित
जाति और जनजाति के छात्र-छात्राओं की उच्च शिक्षा बाधित हो रही है, जिससे उनकी प्रतिभा का पूर्ण विकास नहीं हो पा रहा है.
आर्थिक बोझ: लंबी दूरी की यात्रा और संबंधित खर्च छात्रों और उनके परिवारों पर आर्थिक बोझ डालते हैं.
फायदे (संभावित, यदि सुविधा उपलब्ध हो):
स्थानीय स्तर पर शिक्षा: यदि करपा और दमेहड़ी में महाविद्यालय स्थापित होता है, तो छात्रों को अपने घर के पास ही उच्च शिक्षा प्राप्त करने की सुविधा मिलेगी.
पहुंच में सुधार: इससे उन छात्रों की शिक्षा तक पहुंच बढ़ेगी जो वर्तमान में लंबी दूरी या आवागमन की समस्याओं के कारण पढ़ाई छोड़ रहे हैं.
आर्थिक राहत: स्थानीय शिक्षा से यात्रा और संबंधित खर्चों में कमी आएगी, जिससे छात्रों और परिवारों पर आर्थिक बोझ कम होगा.
प्रतिभा का विकास: स्थानीय स्तर पर शिक्षा उपलब्ध होने से दूरस्थ क्षेत्रों के छात्रों को अपनी प्रतिभा विकसित करने और रोजगार के अवसर प्राप्त करने में मदद मिलेगी.


